गुर्दों में होने वाले रोग
1. गुर्दों में परेशानी होने से मूत्र मार्ग में मवाद का आना।
2. हाई ब्लडप्रेशर की समस्या होना।
3. मूत्र संबंधी परेशानियां।
4. दिल की बीमारी, आदि।
5. मूत्र में खून आना |
गुर्दों और ह्दय में गंभीर संबंध है। जब गुर्दे सही रूप से अपना काम करते हैं तो दिल की बीमारी भी दूर रहती है। दिल की बीमारी तभी ज्यादा सक्रिय होती है जब गुर्दों में विकार उत्पन्न हो जाता है। गुर्दों को सबसे अधिक परेशानी पथरी की वजह से होती है। पथरी की वजह से गुर्दों में सूजन आ जाती है। और पेशाब से रक्त तक निकलने लगता है। जो कि पीड़दायक होता है। पथरी गुर्दो के भीतर संक्रमण करके मवाद बना देती है।
किस तरह से करें गुर्दों को रोगमुक्त
गुर्दो को रोग से मुक्त रखने का सबसे पहला नियम यह है कि आप भोजन पर ध्यान दें। यानी की भोजन में अत्याधिक अचार, मसालेदार खाने, का सेवन कम से कम करें। पूरी, हलवा, आलू और मैदा आदि का सेवन भी गुर्दों को नुकसान पहुंचाता है।
गुर्दें को स्वस्थ रखने के उपाय
1. गुर्दों के लिए शहद का सेवन सबसे महत्वपूर्ण होता है। यह मूत्र में रूकावट की समस्या को दूर करता है। और गुर्दों के रोगों को दूर करता है।
2. गुर्दे की बीमारी में ककड़ी महत्वपूर्ण होती है। ककड़ी के बीजों को सुखाकर उसका चूर्ण बनाएं और उसमें बराबर मात्रा में सेंधा नमक डालकर मिक्स चूर्ण बना लें और इसे 15 ग्राम छाछ के साथ सेवन करें यह पेशाब की समस्या को दूर करता है।
3. गुर्दों में परेशानी की वजह से जिन लोगों को बार-बार पेशाब जाने की समस्या होती है वे 20 मि.ली आंवले के रस के साथ केले का सेवन करें एैसा करने से बहुमूत्र की समस्या से निजात मिलता है।
4. यदि पेशाब में पस आ रहा हो तो शहद व हल्दी को आंवले के रस में डालकर सेवन करें। एैसा करने से पेशाब में पस यानी मवाद आना बंद हो जाएगा।
5. गुर्दों में दिक्कत से यदि पेशाब में जलन हो रही हो तो पीसी हुई 2 इलायची को दूध में डालकर सेवन करें। एैसा करने से पेशाब खुलकर आता है, और जलन दूर होती है।
6. यदि पेशाब किसी वजह से आना बंद हो गया हो तो गरम पानी में एरंड के तेल की 20-50 मि.ली की मात्रा में डालकर पीने से थोड़ी ही देर में रूका हुआ पेशाब खुलकर होने लगेगा।
7. गुर्दें में दर्द हो रहा हो तो 10 ग्राम सेंधा नमक, 20 ग्राम तुलसी के पत्ते, 20 ग्राम अजवाइन को कूट कर चूर्ण बना कर रख लें और जब भी गुर्दें में दर्द हो तो इस चूर्णं को हल्के गरम पानी के साथ पीएं । यह दर्द में राहत देता है।
8. पेशाब से खून यदि आ रहा हो तो मुलेठी और शतावरी को बराबर की मात्रा में लेकर चूर्णं बना लें और 2 से 3 चुटकी इस चूर्ण का सेवन करें। पेशाब से खून आना बंद हो जाएगा।
9. गुर्दें में पथरी होने पर प्रतिदिन 2 गिलास तरबूज का जूस पीने से लाभ मिलता है।
10. गुर्दें में यदि पथरी हो तो आप पपीते के पेड़ की जड़ को पानी के साथ पिसे और 5 ग्राम की मात्रा में सेवन करें यह पथरी को तोड़कर बाहर करता है।
11. गुर्दें में पीड़ा हो रही हो तो खरबूजे के छिलकों को सुखा लें और 10 ग्राम छिलका आधे गिलास पानी में उबालें और उसमें थोड़ी मात्रा में चीनी डालकर 1 सप्ताह तक सुबह-शाम आधा-आधा सेवन करने से गुर्दें में हो रहा दर्द पूरी तरह शांत हो जाएगा।
12 . मूत्र रुक गया हो तो कलमी सोरा २ ग्राम पानी से पीवे और अपनी नाभि के चारो और लगाये |
एक प्रयोग ये भी करे ---
पाव (250 ग्राम) गोखरू कांटा (ये आपको पंसारी से मिल जायेगा) लेकर 4 लीटर पानी मे उबालिए जब पानी एक लीटर रह जाए तो पानी छानकर एक बोतल मे रख लीजिए और कांटा फेंक दीजिए। इस काढे को सुबह शाम खाली पेट हल्का सा गुनगुना करके 100 ग्राम के करीब पीजिए। शाम को खाली पेट का मतलब है दोपहर के भोजन के 5, 6 घंटे के बाद। काढ़ा पीने के एक घंटे के बाद ही कुछ खाइए और अपनी पहले की दवाई ख़ान पान का रोटिन पूर्ववत ही रखिए।
15 दिन के अंदर यदि आपके अंदर अभूतपूर्व परिवर्तन हो जाए तो डॉक्टर की सलाह लेकर दवा बंद कर दीजिए।जैसे जैसे आपके अंदर सुधार होगा काढे की मात्रा कम कर सकते है या दो बार की बजाए एक बार भी कर सकते है। मुझे उम्मीद है की ट्रांसप्लांट का विचार त्याग देंगे
गुर्दें की बीमारी से बचने के लिए कौन-कौन सी चीजे खांए
आप अपने भोजन में शहद, दही, दूध आदि को जरूर लें। सब्जियों में पालक, बथुआ और टमाटर का प्रयोग करें क्योंकि इनमें आयरन की मात्रा उचित होती है। गुर्दें की समस्या दूर तभी हो सकती है जब आप अपने खान पान का ध्यान रखें।
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