यूरिक एसिड, संधिवात (gout)
आधुनिक जीवन शैली का गंभीर रोग
यूरिक एसिड बनने की समस्या को कभी हल्के में नहीं लेना चाहिए। हड्डियों के लिए यह अभिशाप की तरह होता है।ज्यादातर केसों में इस से विभिन्न विभिन्न लक्षण देखे जाते हैं। प्रारंभिक अवस्था में शरीर में जकड़न देखी जाती है। बाद में छोटे जोड़ों में दर्द शुरू होता है।
बेध्यानी करने पर जब जोड़ों के स्थान से हड्डियां सड़ने लग जाती हैं तो इलाज मुश्किल होना शुरू हो जाता है। एलोपैथी में इस के लिए प्रयोग की जाने वाली औषधियां शरीर के लिए नुकसानदेह होने के कारण सयाने डाक्टर इन का प्रयोग सावधानी से करने की सलाह देते हैं।
कमजोर पाचन प्रणाली के कारण इस समस्या में प्रोटीन युक्त खाद्य पदार्थों का सेवन बंद करना जरूरी होता है। साग,पालक जैसे पदार्थ भी नहीं लेने चाहिए।
जाने आयुर्वेद में इसके घरेलु उपचार।
अगर लौकी का मौसम हो तो सुबह खाली पेट लौकी (घीया, दूधी) का जूस निकाले एक गिलास इस में 5-5 पत्ते तुलसी और पुदीना के भी डाल ले, अब इसमें थोड़ा सेंधा नमक मिला ले। और इसको नियमित पिए कम से कम 30 से 90 दिन तक।
रात को सोते समय एक गिलास गाय का दूध और आधा गिलास पानी, या डेढ़ गिलास साधारण पानी में अर्जुन की छाल का चूर्ण एक चम्मच और दाल चीनी पाउडर आधा चम्मच डाल कर चाय की तरह पकाये और थोड़ा पकने पर छान कर निचोड़ कर पी ले। ये भी 30 से 90 दिन तक करे।
चोबचीनी का आधा चम्मच सवेरे खाली पेट और रात को सोने के समय पानी से लेने पर कुछ दिनों में यूरिक एसिड खत्म हो जाता है।
एक कच्चा हरा पपीता अंदाजा एक किलो तक के वजन का ले कर अच्छी तरह धो लें।फिर समेत छिलके उसके छोटे छोटे पीस काट लें।फिर किसी पतीले में डाल कर इस में तीन किलो पानी मिला दें और इस में पांच पैकेट ग्रीन टी (या किसी कपड़े में बांधकर दो बड़े चम्मच) के डाल कर 15 मिनट तक चाय की तरह उबालकर इसे छान लें।पूरा दिन यही पानी पीना है।अंदाजा 5 से 6 गिलास । 14 दिन लगातार पीने से यूरिक एसिड खत्म हो जाता है। 14 दिन लगातार प्रयोग करने के बाद जब टेस्ट वगैरह नार्मल हो जाएं तो बाद में 7 दिन में एक बार प्रयोग करने से यूरिक एसिड की समस्या नहीं होगी।
गुडूच्यादि काढ़ा (ये आपको किसी भी पंसारी या आयुर्वेदिक दवा केंद्र पर मिल जायेगा) दो समय पिए।
दिन में कम से कम 5-10 लीटर पानी का सेवन करें। पानी की पर्याप्त मात्रा से शरीर का यूरिक एसिड पेशाब के रास्ते से बाहर निकल जाएगा। थोड़ी - थोड़ी देर में पानी को जरूर पीते रहें।
परहेज।
दही, चावल, अचार, ड्राई फ्रूट्स, दाल, और पालक बंद कर दे।
रात को सोते समय दूध या दाल का सेवन अत्यंत हानिकारक हैं।
सब से बड़ी बात के खाना खाते समय पानी नहीं पीना, पानी खाने से डेढ़ घंटे पहले या बाद में ही पीना हैं।
फ़ास्ट फ़ूड, कोल्ड ड्रिंक्स, पैकेज्ड फ़ूड, अंडा, मांस, मछली, शराब, और धूम्रपान बिलकुल बंद कर दे।
इन प्रयोग से आपकी यूरिक एसिड की समस्या, हार्ट की कोई भी समस्या, जोड़ो के दर्द, हाई ब्लड प्रेशर की समस्या बिलकुल समाप्त हो जाएगी।
रोग की गंभीरता को देखते हुए ये प्रयोग लम्बा चल सकते हैं। निरंतरता और धैर्यता अपनाये।
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