Monday, 13 July 2015

आर्थराइटिस ( Arthritis ) की प्राकृतिक चिकित्सा














आर्थराइटिस की प्राकृतिक चिकित्सा

आर्थराइटिस बेहद कष्टकारी रोग है, इस रोग के निवारण हेतु कोई कारगर दवा नही है, जो दवाएं हैं भी वे सिर्फ दर्द को भुलाने मात्र का कार्य करती हैं | खान-पान में सुधार एवं कुछ प्राकृतिक उपायों को अपनाकर इस रोग से मुक्ति पायी जा सकती है |

घरेलू उपाय :

• प्रातः रात्रि आधा- आधा चम्मच अरंडी के जड़ का चूर्ण लेने से गठिया के रोग में चमत्कारिक लाभ होता है। यदि जोड़ों का दर्द प्रारंभिक अवस्था में है तो अरंडी के तेल के मालिश भी अत्यंत लाभदायक है।

• आर्थराइटिस रोग में रक्त में यूरिक एसिड की मात्रा अधिक हो जाती है। इसे कम करने के लिए प्रातः खाली पेट लहसुन की 2-3 कलियाँ छीलकर पानी के साथ निगल लेनी चाहिए | लहसुन के रस को कपूर में मिला कर मालिश करने से भी दर्द में भी राहत मिलती है।

• जोड़ों के दर्द से परेशान लोगों को हर रोज दो सौ ग्राम अदरक दो बार लेने से दर्द में बहुत राहत मिलती है। आप चाहें तो सब्जी, सूप या अन्य चीजों में मिलाकर भी अदरक का सेवन कर सकते हैं।

• जोड़ों पर नीबू के रस की मालिश करने से और रोजाना सुबह एक गिलास पानी में एक नीबू का रस निचोड़ कर पीते रहने से जोड़ों की सूजन एवं दर्द दूर होता है।

• प्रतिदिन 15-20 मिली. बथुआ के ताजा पत्‍तों का रस पीना चाहिए। खाली पेट पीने से अधिक लाभ होता है। तीन महीने तक प्रतिदिन प्रातः खाली पेट बथुआ के ताजा पत्‍तों का रस पीने से इस रोग से हमेशा के लिए छुटकारा मिल जाता है।

• प्रतिदिन भोजन के 15 मिनट पहले दो आलूओं का रस (लगभग 100 मिली. रस) निकाल कर पीने से इस रोग में अत्यंत लाभ मिलता है।

• 100 ग्राम मैथीदाना भूनकर चूर्ण बना लें इसमें 50 ग्राम सौंठ + 25 ग्राम हल्दी + 250 ग्राम मिश्री का चूर्ण मिला दें। इस चूर्ण को शीशी में भरकर रख दें। प्रातः – सायं 1–1 चम्मच मात्रा, दूध के साथ लें।

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